4 अगस्त को किसान अपने हकों के लिए प्रदर्शन करेंगे
करनाल, प्रवीण कौशिक
भारतीय किसान यूनियन की राज्यस्तरीय मीटिंग किसान भवन करनाल में हुई जिसकी अध्यक्षता प्रदेशाध्यक्ष चौ. सेवा सिंह आर्य ने की। मीटिंग में राष्ट्रीय स्तरीय किसान समस्याओं पर विचार किया गया। मिटिंग में बोलते हुए श्री आर्य ने कहा कि देश को आजाद हुए 70 साल हो चुके हैं, लेकिन किसान आज भी आर्थिक तौर पर गुलामी की जंजीरों में जकड़ा हुआ है। किसानों ने 15 मन प्रति एकड़ से बढ़ाकर 70-75 मन तक फसल पैदा की और उसके बाद भी किसान कर्जे की दलदल में इतना धंस चुका है कि अब वह निकलने का रास्ता भी नहीं ढूंढ़ पा रहा। कर्जा न चुकाने की एवज में लाखों किसान शान और शौकत एवं सामाजिक डर से आत्महत्या कर रहे हैं। आज किसानों ने इस बात पर भी रोष जाहिर किया कि देश के अंदर सरकारें बदली लेकिन किसानों के लिए बनाई जाने वाली नीतियां आज तक नहीं बदली गई, न तो किसान को भाव रखने का अधिकार है न ही उसको तोल कर दूसरों को देने का अधिकार है जिससे किसान अपनी फसलों के लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य प्राप्त नहीं कर सकते। केंद्र द्वारा घोषित न्यूनतम समर्थन मूल्य जोकि बहुत कम होता है मंडियों में इससे भी कम पर किसानों की फसलों को लूट लिया जाता है जिससे किसान आज बर्बादी के कगार पर पहुंच चुका है और इसकी स्थिति बद से बदतर हो चुकी है।
आज बैठक में सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया है कि 4 अगस्त को किसान अपने हकों के लिए प्रदर्शन करेंगे और उपायुक्त महोदय को मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौपेेंगे। उसके बाद यदि सरकार ने समस्याओं का हल नहीं किया तो पूरे देश में 9 अगस्त से जेल भरो आंदोलन शुरु किया जायेगा।
किसानों की मुख्य मांगे : 1. स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट शीघ्र लागू की जाए। 2. किसानों को कर्ज मुक्त किया जाए। 3. फसलों के लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य दिए जाएं और उन पर 50 प्रतिशत लाभ दिया जाए। 4. किसानों की कृषि नीति लाभकारी बनाई जाए। बीमा पॉलिसी बंद की जाए और बिना ब्याज के किसानों को कर्ज मुहैया कराया जाए। 5. सरकारी नौकरियों में किसानों के बच्चों को आरक्षण दिया जाए व किसानों को 60 वर्ष के बाद कर्मचारी की तर्ज पर पैंशन दी जाए। 6. घीड़ मंडी को तबदील करके पंचायत द्वारा दी गई भूमि पर बनाई जाए और जमुना में गिरने वाला गंदे नाले का पानी जो कि यमुनानगर से आता है बंद किया जाए। 7. सब्जियों के भी न्यूनतम मूल्य घोषित करें।
इस अवसर पर मुख्य रूप से प्रदेश अध्यक्ष सेवा सिंह आर्य, अजीत सिंह हाबड़ी, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जय कंवार, सचिव टेकचन्द, नफे सिंह सैक्रेट्री हरियाणा, अंग्रेज सिंह, नरसिंह, सुलतान सिंह, अर्जुन सिंह, अमर सिंह कुरुक्षेत्र, नेकीराम, पालाराम, ईश्वर, नाथी राम, भीम सिंह, लखपत राय शास्त्री, महेन्द्र सिंह दादुपुर, सोहन लाल, मास्टर पूर्णचन्द कैमला, प्रदीप सैनी यमुनानगर, सूरजा राम अंबाला, गुलजार सिंह निसिंग, करतार सिंह पाई, बलवान सिंह पाई, चौ. कबूल सिंह, कैप्टन महीपाल सिंह, रामकुमार असंध, जीवन सिंह प्रधान असंध, जितेन्द्र सिंह मेहला, बिट्टा पाई, बाबूराम, राजपाल जांगड़ा, ईश्वर सिंह चहल आदि मौजूद रहे।
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